May 30, 2025
#देहरादून

शांत दून घाटी में रियल स्टेट वार का नतीजा है बिल्डर बाबा साहनी का स्यूसाइड

Share Now

अजय रावत अजेय

■शुकून का स्वर्ग माने जाने वाले देहरादून में एकाएक रियल एस्टेट कारोबार पंहुचा शिखर पर■
●एनसीआर से बेहतर कनेक्टिविटी के चलते बिल्डर्स को नजर आ रहा बड़ा कारोबार●

शुक्रवार को देहरादून के जाने माने बिल्डर बाबा साहनी ने सहस्रधारा रोड के पैसिफ़िक गोल्फ अपार्टमेंट्स में स्थित अपनी बेटी के आठवीं मंजिल पर स्थित फ्लैट से कूद कर अपनी जीवन लीला समाप्त कर दी। खुदकुशी करने से पूर्व बाबा ने एक नोट लिख कर हमेशा से विवादों में रहने वाले दक्षिण अफ़्रीका में कारोबार करने वाले गुप्ता परिवार व उसके परिजनों को दोषी ठहराया है। इस स्यूसाइड नोट से साफ हो चुका है कि देहरादून में कुकुरमुत्ते की तरह उग रही मल्टी स्टोरी हाउसिंग सोसाइटीज में किस तरह का निवेश हो रहा है। ज़ाहिर है देहरादून में नए नए शुरू हो रहे रियल एस्टेट के कारोबार में काले धन के साथ अनैतिक रूप से कमाए गए पैसे को भी बड़े पैमाने पर निवेश किया जा रहा है। बाबा द्वारा आत्महत्या किये जाने के प्रकरण से साबित होता है अब दून घाटी की आबोहवा ही नहीं बल्कि इसकी शांति व सुकून भी अंतिम सांसे गिनने की नौबत तक पंहुच गया है।

●एनसीआर से बेहतर कनेक्टिविटी के चलते हो रहा निवेश●

एनसीआर में नोएडा, गुरुग्राम, फरीदाबाद, गाज़ियाबाद, सोनीपत, रेवाड़ी जैसे इलाकों में रियल एस्टेट में भारीभरकम निवेश के बाद अब निवेशकों का नया डेस्टिनेशन देहरादून बन चुका है। इसमें कोई दो राय नहीं कि एनसीआर के मुकाबले दून घाटी आबोहवा व ग्रीनरी के मामले में अभी तक काफ़ी बेहतर स्थिति में है। एनसीआर की आपाधापी, भीड़, पॉल्युशन व गर्मी से उकता चुके लोगों को बिल्डर्स द्वारा देहरादून में प्रॉपर्टी में निवेश करने के लिए प्रेरित किया जा रहा है। निश्चित रूप से रियल स्टेट कारोबारियों के हरे भरे विज्ञापनों से आम निवेशक प्रभावित भी हो रहे हैं। इधर दिल्ली-देहरादून ए

सर्वश्रेष्ठ सांस्कृतिक व सामाजिक पत्रिका

क्सप्रेस वे से देहरादून व दिल्ली की दूरी मात्र ढाई घण्टे तक सिमटने के प्रचार प्रसार ने बड़ी संख्या में लोगों में दून में घर बनाने के प्रति उत्सुकता भरी है। देहरादून में घर खरीदने को लेकर बढ़ी प्रवृत्ति को देखते हुए रियल एस्टेट कारोबारियों ने देहरादून का रुख किया है, नतीजतन देहरादून में बड़ी संख्या में बहुमंजिला हाउसिंग सोसाइटीज़ का निर्माण जारी है और दर्जनों ऐसे प्रपोजल अभी पाइप लाइन में हैं।

Leave a comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *